अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के नाम पर करोड़ों की ठगी! कर्नाटक के 7 जिलों में ठगों ने कैसे लोगों को बनाया निशाना?

कर्नाटक के हावेरी से साइबर ठगी का एक ऐसा मामला सामने आया है, जहां ठगों ने किसी अधिकारी या जांच एजेंसी के नाम पर नहीं बल्कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के नाम पर लोगों से ठगी की. साइबर ठगों ने इसके जरिए करोड़ों रुपये राज्य के अलग-अलग जिले के लोगों से ठगे.
इस समय साइबर ठगी करने के लिए सोशल मीडिया का इस्तेमाल करने वालों की संख्या बढ़ रही है. साइबर ठग आम लोगों को अपना निशाना बनाते हैं और उनसे लाखों रुपये की ठगी करते हैं. अब नया मामला कर्नाटक के हावेरी सामने से आया है, जहां ठगी करने वाले साइबर अपराधी बड़े अधिकारियों के नाम पर नहीं, बल्कि राजनेताओं के नाम पर आम लोगों को ठग रहे थे.
आपने अभी तक साइबर ठगी में धोखाधड़ी करने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले अधिकारी, सीबीआई, ईडी जैसे नाम सुनेंगे. लेकिन कर्नाटक के हावेरी में साइबर अपराधियों ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के नाम पर लोगों से ठगी की और करोड़ों रुपए भोले भाले लोगों से ठग लिए. इन लोगों ने डोनाल्ड ट्रंप के नाम पर राज्य में सैकड़ों लोगों के साथ धोखाधड़ी की है.
कई जिलों के लोगों के साथ की ठगी
इन साइबर अपराधियों ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के नाम से एक मोबाइल ऐप बनाया है और लोगों को धोखा दे रहे हैं. इन साइबर ठगों के निशाने पर अब तक बिजनेसमैन से लेकर वकील, छात्र और सरकारी कर्मचारी तक कई लोग आ चुके हैं. अकेले हावेरी जिले में 15 से ज्यादा लोगों के साथ धोखाधड़ी की गई है. इसके साथ ही बेंगलुरु, मैंगलोर, तुमकुर, हुबली, धारवाड़ और शिवमोग्गा समेत कई जिलों में लोगों के साथ धोखाधड़ी की घटना को अंजाम दिया गया है.
सोशल मीडिया पर ट्रंप ऐप का ऐड
साइबर अपराधियों ने सोशल मीडिया पर ट्रंप ऐप के विज्ञापन जारी किए हुए हैं. इस विज्ञापन में एक नंबर दिया गया है, जिस पर कॉल कर पैसा डबल करने का लालच दिया गया है. ऐसे में दिए गए नंबर पर सैकड़ों लोगों ने कॉल किया. कॉल करने वालों को कम समय में बहुत सारा पैसा कमाने का लालच देकर उनके साथ धोखाधड़ी की गई.
निवेश करते ही साइबर ठग गायब
इसके अलावा जिन लोगों ने पहले ट्रंप ऐप में निवेश किया था. उन्हें दोगुना पैसा भी दिया गया. साइबर जालसाजों ने ब्याज देकर पहले लोगों का विश्वास जीता, फिर ज्यादा मुनाफे का लालच देकर लोगों से करोड़ों रुपये ठग लिए. इस ऐप में जैसे ही लोग पैसा निवेश करते हैं. वैसे ही साइबर ठग गायब हो जाते हैं. हालांकि अभी तक इस मामले में पुलिस में शिकायत दर्ज होने की कोई जानकारी नहीं है.